ओल्ड इस गोल्ड शृंखला # 638/2010/338
फ़िल्मी सितारों की आवाज़ें इन दिनों गूंज रही है 'ओल्ड इज़ गोल्ड' की महफ़िल में, और शृंखला है 'सितारों की सरगम'। आज जिस आवाज़ की बारी है, उस आवाज़ की हम किसी गीत में कल्पना भी नहीं कर सकते, क्यों यह बुलंद आवाज़ तो लोगों को "ख़ामोश" करवाती आई है। इसलिए इस शख़्स द्वारा गाये गीत की कल्पना करना ज़रा मुश्किल हो जाता है। शत्रुघ्न सिंहा। जी हाँ, ॠषीकेश मुखर्जी निर्देशित १९८१ की फ़िल्म 'नरम गरम' में शत्रु साहब नें सुषमा श्रेष्ठ के साथ मिलकर एक युगल गीत गाया था, जो काफ़ी मशहूर भी हुआ। चाचा और भतीजी द्वारा गाया गया यह एक बड़ा ही मज़ेदार गीत है जिसके बोल हैं "एक बात सुनी है चाचा जी बतलाने वाली है, घर में एक अनोखी चीज़ आने वाली है"। चाचा बनें हैं शत्रु साहब और भतीजी हैं किरण वैरले। ये वही किरण हैं जिन्होंने 'नमकीन' फ़िल्म में छोटी बहन की भूमिका अदा की थी। भतीजी के उपर लिखे सवाल का चाचा जी यह कहते हुए जवाब देते हैं कि "हाँ रे भइया नें फिर कोई लड़की देखी है, तेरी चाची बुलडोज़र आने वाली है"। याद है न इसमें भइया कौन थे? उत्पल दत्त साहब, जो हर छोटे से छोटा काम भी ग्रह-नक्षत्रों के स्थान-काल देख कर किया करते थे। 'नरम-गरम' फ़िल्म के मुख्य नायक-नायिका थे अमोल पालेकर और स्वरूप सम्पत। अमोल पालेकर और उत्पल दत्त अभिनीत एक और यादगार फ़िल्म 'गोलमाल' के साथ 'नरम गरम' की समानता इस बात में भी है कि दोनों ही फ़िल्मों में उत्पल दत्त द्वारा निभाये गये चरित्र का नाम भवानी शंकर था, तथा अमोल पालेकर द्वारा अभिनीत चरित्र का नाम था राम ('गोलमाल' में रामप्रसाद शर्मा और 'नरम-गरम' में राम ईश्वर प्रसाद)। 'नरम-गरम' में शत्रुघ्न सिंहा के किरदार का नाम था काली शंकर और उनकी भतीजी बनी किरण का नाम था सुमी।
'नरम-गरम' फ़िल्म के प्रोड्युसर थे सुभाष गुप्ता और उदय नारायण सिंह। स्क्रिप्ट लिखे डी. एन. मुखर्जी नें और संवाद थे डॊ. राही मासूम रज़ा साहब के। फ़िल्म के गीत लिखे गुलज़ार साहब नें और संगीत था राहुल देव बर्मन का। गुलज़ार साहब संजीदे शायरी के महारथी तो हैं ही, बच्चों वाले गीत और कविताओं में भी उनके स्तर के बहुत कम ही गीतकार होंगे। अब इसी गीत में देखिए किस ख़ूबसूरत तरीक़े से राइम शैली में गीत की शुरुआत की है। भतीजी कहती है कि "ना ना ना ना पप्पी की हड़ताल है चाचाजी, आज आप से मेरा एक सवाल है चाचाजी"। गाड़ियों में दिलचस्पी रखने वाले और शादी से दूर भागने वाले चाचाजी कहते हैं, "अरे मॊडेल मर्सीडीज़ से प्यारी मेरी सुम्मी, जो माँगोगी वही मिलेगा अगर मिलेगी चुम्मी"। भतीजी - "तो वादा करो कि नये नये कपड़े सिलवाऊँगा"; चाचाजी - "कपड़े सिलवाऊँगा"; भतीजी - "वादा करो कि उन कपड़ों में इतर लगाऊँगा"; चाचाजी - "इतर लगाऊँगा"; भतीजी - "वादा करो कि जीप नहीं घोड़े पे जाऊँगा"; चाचाजी - "घोड़े पे जाऊँगा??? क्यों क्या बात है???" और तब जाकर मुखड़ा शुरु होता है "एक बात सुनी है चाचाजी...."। शत्रुघ्न सिंहा के गाये गीतों की अगर हम बात करें तो इस गीत के अलावा उन्होंने किसी और गीत को "गाया" तो नहीं है, लेकिन उनकी संवाद अदायगी की ख़ास शैली को कुछ गीतों में जगह ज़रूर मिली है। उदाहरण के तौर पे फ़िल्म 'शिवशक्ति' में अल्का याज्ञ्निक के साथ उन्होंने आवाज़ मिलाई और हर अंतरे से पहले वो एक लाइन कहे, जैसे कि "पटने का हूँ मगर पटने वाला नहीं" आदि। ऐसे ही लता मंगेशकर और मोहम्मद रफ़ी के गाये फ़िल्म 'दोस्त' के मशहूर गीत "कैसे जीते हैं भला हमसे सीखो ये अदा" में उनके सशक्त संवाद सुनाई देते हैं। तो आइए शत्रुघ्न सिंहा और सुषमा श्रेष्ठ की आवाज़ों में सुनें फ़िल्म 'नरम-गरम' का गीत।
क्या आप जानते हैं...
कि शत्रुघ्न सिंहा को फ़िल्मों में पहला मौका दिया था देव आनंद नें अपनी फ़िल्म 'प्रेम पुजारी' में। लेकिन इस फ़िल्म के विलंब हो जाने से शत्रुघ्न सिंहा की पहली प्रदर्शित फ़िल्म बनीं 'साजन' (१९६९) जिसमें उन्होंने पुलिस इन्स्पेक्टर का छोटा सा रोल किया था।
दोस्तों अब पहेली है आपके संगीत ज्ञान की कड़ी परीक्षा, आपने करना ये है कि नीचे दी गयी धुन को सुनना है और अंदाज़ा लगाना है उस अगले गीत का. गीत पहचान लेंगें तो आपके लिए नीचे दिए सवाल भी कुछ मुश्किल नहीं रहेंगें. नियम वही हैं कि एक आई डी से आप केवल एक प्रश्न का ही जवाब दे पायेंगें. हर १० अंकों की शृंखला का एक विजेता होगा, और जो १००० वें एपिसोड तक सबसे अधिक श्रृंखलाओं में विजय हासिल करेगा वो ही अंतिम महा विजेता माना जायेगा. और हाँ इस बार इस महाविजेता का पुरस्कार नकद राशि में होगा ....कितने ?....इसे रहस्य रहने दीजिए अभी के लिए :)
पहेली 9/शृंखला 14
गीत का ये हिस्सा सुनें-
अतिरिक्त सूत्र - बेहद आसान है.
सवाल १ - कौन है ये खूबसूरत अभिनेत्री गायिका - १ अंक
सवाल २ - साथ में किस गायक ने आवाज़ मिलायी है - २ अंक
सवाल ३ - इस अभिनेत्री ने गायक शैलन्द्र के साथ एक युगल गीत को गाया था, क्या बता सकते है कौन सा था वो गीत और किस फिल्म से - ३ अंक
पिछली पहेली का परिणाम -
वाह अनजाना जी एक आगे निकल आये हैं, ये एक अंक निर्णायक हो सकता है. प्रतीक जी सही जवाब आपका भी
खोज व आलेख- सुजॉय चटर्जी
फ़िल्मी सितारों की आवाज़ें इन दिनों गूंज रही है 'ओल्ड इज़ गोल्ड' की महफ़िल में, और शृंखला है 'सितारों की सरगम'। आज जिस आवाज़ की बारी है, उस आवाज़ की हम किसी गीत में कल्पना भी नहीं कर सकते, क्यों यह बुलंद आवाज़ तो लोगों को "ख़ामोश" करवाती आई है। इसलिए इस शख़्स द्वारा गाये गीत की कल्पना करना ज़रा मुश्किल हो जाता है। शत्रुघ्न सिंहा। जी हाँ, ॠषीकेश मुखर्जी निर्देशित १९८१ की फ़िल्म 'नरम गरम' में शत्रु साहब नें सुषमा श्रेष्ठ के साथ मिलकर एक युगल गीत गाया था, जो काफ़ी मशहूर भी हुआ। चाचा और भतीजी द्वारा गाया गया यह एक बड़ा ही मज़ेदार गीत है जिसके बोल हैं "एक बात सुनी है चाचा जी बतलाने वाली है, घर में एक अनोखी चीज़ आने वाली है"। चाचा बनें हैं शत्रु साहब और भतीजी हैं किरण वैरले। ये वही किरण हैं जिन्होंने 'नमकीन' फ़िल्म में छोटी बहन की भूमिका अदा की थी। भतीजी के उपर लिखे सवाल का चाचा जी यह कहते हुए जवाब देते हैं कि "हाँ रे भइया नें फिर कोई लड़की देखी है, तेरी चाची बुलडोज़र आने वाली है"। याद है न इसमें भइया कौन थे? उत्पल दत्त साहब, जो हर छोटे से छोटा काम भी ग्रह-नक्षत्रों के स्थान-काल देख कर किया करते थे। 'नरम-गरम' फ़िल्म के मुख्य नायक-नायिका थे अमोल पालेकर और स्वरूप सम्पत। अमोल पालेकर और उत्पल दत्त अभिनीत एक और यादगार फ़िल्म 'गोलमाल' के साथ 'नरम गरम' की समानता इस बात में भी है कि दोनों ही फ़िल्मों में उत्पल दत्त द्वारा निभाये गये चरित्र का नाम भवानी शंकर था, तथा अमोल पालेकर द्वारा अभिनीत चरित्र का नाम था राम ('गोलमाल' में रामप्रसाद शर्मा और 'नरम-गरम' में राम ईश्वर प्रसाद)। 'नरम-गरम' में शत्रुघ्न सिंहा के किरदार का नाम था काली शंकर और उनकी भतीजी बनी किरण का नाम था सुमी।
'नरम-गरम' फ़िल्म के प्रोड्युसर थे सुभाष गुप्ता और उदय नारायण सिंह। स्क्रिप्ट लिखे डी. एन. मुखर्जी नें और संवाद थे डॊ. राही मासूम रज़ा साहब के। फ़िल्म के गीत लिखे गुलज़ार साहब नें और संगीत था राहुल देव बर्मन का। गुलज़ार साहब संजीदे शायरी के महारथी तो हैं ही, बच्चों वाले गीत और कविताओं में भी उनके स्तर के बहुत कम ही गीतकार होंगे। अब इसी गीत में देखिए किस ख़ूबसूरत तरीक़े से राइम शैली में गीत की शुरुआत की है। भतीजी कहती है कि "ना ना ना ना पप्पी की हड़ताल है चाचाजी, आज आप से मेरा एक सवाल है चाचाजी"। गाड़ियों में दिलचस्पी रखने वाले और शादी से दूर भागने वाले चाचाजी कहते हैं, "अरे मॊडेल मर्सीडीज़ से प्यारी मेरी सुम्मी, जो माँगोगी वही मिलेगा अगर मिलेगी चुम्मी"। भतीजी - "तो वादा करो कि नये नये कपड़े सिलवाऊँगा"; चाचाजी - "कपड़े सिलवाऊँगा"; भतीजी - "वादा करो कि उन कपड़ों में इतर लगाऊँगा"; चाचाजी - "इतर लगाऊँगा"; भतीजी - "वादा करो कि जीप नहीं घोड़े पे जाऊँगा"; चाचाजी - "घोड़े पे जाऊँगा??? क्यों क्या बात है???" और तब जाकर मुखड़ा शुरु होता है "एक बात सुनी है चाचाजी...."। शत्रुघ्न सिंहा के गाये गीतों की अगर हम बात करें तो इस गीत के अलावा उन्होंने किसी और गीत को "गाया" तो नहीं है, लेकिन उनकी संवाद अदायगी की ख़ास शैली को कुछ गीतों में जगह ज़रूर मिली है। उदाहरण के तौर पे फ़िल्म 'शिवशक्ति' में अल्का याज्ञ्निक के साथ उन्होंने आवाज़ मिलाई और हर अंतरे से पहले वो एक लाइन कहे, जैसे कि "पटने का हूँ मगर पटने वाला नहीं" आदि। ऐसे ही लता मंगेशकर और मोहम्मद रफ़ी के गाये फ़िल्म 'दोस्त' के मशहूर गीत "कैसे जीते हैं भला हमसे सीखो ये अदा" में उनके सशक्त संवाद सुनाई देते हैं। तो आइए शत्रुघ्न सिंहा और सुषमा श्रेष्ठ की आवाज़ों में सुनें फ़िल्म 'नरम-गरम' का गीत।
क्या आप जानते हैं...
कि शत्रुघ्न सिंहा को फ़िल्मों में पहला मौका दिया था देव आनंद नें अपनी फ़िल्म 'प्रेम पुजारी' में। लेकिन इस फ़िल्म के विलंब हो जाने से शत्रुघ्न सिंहा की पहली प्रदर्शित फ़िल्म बनीं 'साजन' (१९६९) जिसमें उन्होंने पुलिस इन्स्पेक्टर का छोटा सा रोल किया था।
दोस्तों अब पहेली है आपके संगीत ज्ञान की कड़ी परीक्षा, आपने करना ये है कि नीचे दी गयी धुन को सुनना है और अंदाज़ा लगाना है उस अगले गीत का. गीत पहचान लेंगें तो आपके लिए नीचे दिए सवाल भी कुछ मुश्किल नहीं रहेंगें. नियम वही हैं कि एक आई डी से आप केवल एक प्रश्न का ही जवाब दे पायेंगें. हर १० अंकों की शृंखला का एक विजेता होगा, और जो १००० वें एपिसोड तक सबसे अधिक श्रृंखलाओं में विजय हासिल करेगा वो ही अंतिम महा विजेता माना जायेगा. और हाँ इस बार इस महाविजेता का पुरस्कार नकद राशि में होगा ....कितने ?....इसे रहस्य रहने दीजिए अभी के लिए :)
पहेली 9/शृंखला 14
गीत का ये हिस्सा सुनें-
अतिरिक्त सूत्र - बेहद आसान है.
सवाल १ - कौन है ये खूबसूरत अभिनेत्री गायिका - १ अंक
सवाल २ - साथ में किस गायक ने आवाज़ मिलायी है - २ अंक
सवाल ३ - इस अभिनेत्री ने गायक शैलन्द्र के साथ एक युगल गीत को गाया था, क्या बता सकते है कौन सा था वो गीत और किस फिल्म से - ३ अंक
पिछली पहेली का परिणाम -
वाह अनजाना जी एक आगे निकल आये हैं, ये एक अंक निर्णायक हो सकता है. प्रतीक जी सही जवाब आपका भी
खोज व आलेख- सुजॉय चटर्जी
इन्टरनेट पर अब तक की सबसे लंबी और सबसे सफल ये शृंखला पार कर चुकी है ५०० एपिसोडों लंबा सफर. इस सफर के कुछ यादगार पड़ावों को जानिये इस फ्लेशबैक एपिसोड में. हम ओल्ड इस गोल्ड के इस अनुभव को प्रिंट और ऑडियो फॉर्मेट में बदलकर अधिक से अधिक श्रोताओं तक पहुंचाना चाहते हैं. इस अभियान में आप रचनात्मक और आर्थिक सहयोग देकर हमारी मदद कर सकते हैं. पुराने, सुमधुर, गोल्ड गीतों के वो साथी जो इस मुहीम में हमारा साथ देना चाहें हमें oig@hindyugm.com पर संपर्क कर सकते हैं या कॉल करें 09871123997 (सजीव सारथी) या 09878034427 (सुजॉय चटर्जी) को
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Song : Kal to Sunday ki Chhutti hai