बातों बातों में - 04 गीतकार आनन्द बक्शी के पुत्र राकेश बक्शी से सुजॉय चटर्जी की लम्बी बातचीत "ज़िन्दगी के सफ़र में..." नमस्कार दोस्तों! हम रोज़ फ़िल्म के परदे पर नायक-नायिकाओं को देखते हैं, रेडियो-टेलीविज़न पर गीतकारों के लिखे गीत गायक-गायिकाओं की आवाज़ों में सुनते हैं, संगीतकारों की रचनाओं का आनन्द उठाते हैं। इनमें से कुछ कलाकारों के हम फ़ैन बन जाते हैं और मन में इच्छा जागृत होती है कि काश इन चहेते कलाकारों को थोड़ा क़रीब से जान पाते! काश इनकी ज़िन्दगियों के बारे में कुछ मालूमात हो जाती! काश इनके फ़िल्मी सफ़र की दास्ताँ के हम भी हमसफ़र हो जाते! ऐसी ही इच्छाओं को पूरा करने के लिए 'रेडियो प्लेबैक इण्डिया' ने बीड़ा उठाया है फ़िल्मी कलाकारों से साक्षात्कार करने का। फ़िल्मी अभिनेताओं, गीतकारों, संगीतकारों और गायकों के साक्षात्कारों पर आधारित यह श्रॄंखला है 'बातों बातों में', जो प्रस्तुत होता है हर महीने के चौथे शनिवार के दिन। आज जनवरी 2014 के चौथे शनिवार के दिन प्रस्तुत है फ़िल्म जगत के सुप्रसिद्ध गीतकार आनन्द बक्शी साहब के बेटे राकेश बक्शी