दूसरे सत्र के तेरहवें गीत का विश्वव्यापी उदघाटन आज. नए गीतों को प्रस्तुत करने के इस चलन में अब तक ऐसा पहली बार हुआ है कि कोई कलाकार अपने पहले गीत के ओपन होने से पहले ही एक जाना माना नाम बन जाए कुछ इस कदर कि आवाज़ के स्थायी श्रोताओं को लगातार ये जानने की इच्छा रही कि अपने संगीत और आवाज़ से उन पर जादू करने वाले रफ़ीक शेख का गीत कब आ रहा है. तो दोस्तों आज इंतज़ार खत्म हुआ. आ गए हैं रफ़ीक शेख अपनी पहली प्रवष्टि के साथ आवाज़ के इस महा आयोजन में. साथ में लाये हैं एक नए ग़ज़लकार अजीम नवाज़ राही को, रिकॉर्डिंग आदि में मदद रहा अविनाश जी का जो रफ़ीक जी के मित्र हैं. दोस्तों हमें यकीन है रफ़ीक शेख की जादू भरी आवाज़ में इस खूबसूरत ग़ज़ल का जादू आप पर ऐसा चलेगा कि आप कई हफ्तों, महीनों तक इसे गुनगुनाने पर मजबूर हो जायेंगे. तो मुलाहजा फरमायें युग्म की नयी पेशकश,ये ताज़ा तरीन ग़ज़ल - " सच बोलता है ....." ग़ज़ल को सुनने के लिए नीचे के प्लेयर पर क्लिक करें - After creating a lot of buzz by his rendition of Ahmed Faraz sahab's ghazals (as a musical tribute to the legend) singer/composer Ra...