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Showing posts with the label Bolti Kahaniyan

विष्णु बैरागी की यह उजास चाहिए मुझे

'बोलती कहानियाँ' इस स्तम्भ के अंतर्गत हम आपको सुनवा रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। पिछले सप्ताह आपने अनुराग शर्मा की आवाज़ में आचार्य चतुरसेन की कहानी अब्बाजान का प्रसारण सुना था। आज हम लेकर आये हैं "विष्णु बैरागी" की कहानी "यह उजास चाहिए मुझे", जिसको स्वर दिया है अनुराग शर्मा ने। सुनें और बतायें कि हम अपने इस प्रयास में कितना सफल हुए हैं। कहानी का कुल प्रसारण समय है: 12 मिनट 39 सेकंड। इस कथा का मूल आलेख विष्णु जी के ब्लॉग एकोऽहम् पर पढ़ा जा सकता है| यदि आप भी अपनी मनपसंद कहानियों, उपन्यासों, नाटकों, धारावाहिको, प्रहसनों, झलकियों, एकांकियों, लघुकथाओं को अपनी आवाज़ देना चाहते हैं तो अधिक जानकारी के लिए कृपया admin@radioplaybackindia.com पर सम्पर्क करें। भ्रष्टाचार का लालच मनुष्य की आत्मा को मार देता है। ~ विष्णु बैरागी हर सप्ताह यहीं पर सुनें एक नयी कहानी “चारों के चारों, मेरे इस नकार को, घुमा-फिराकर मेरी कंजूसी साबित करना चाह रहे हैं। मुझे हँसी आती है किन्तु हँस नहीं पाता। डरता हूँ कि ये सब बुरा न मान जाएँ।” ( विष्णु बैरागी की "

बोलती कहानियाँ: आचार्य चतुरसेन की अब्बाजान

'बोलती कहानियाँ' इस स्तम्भ के अंतर्गत हम आपको सुनवा रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। पिछले सप्ताह आपने अनुराग शर्मा की आवाज़ में भारतेंदु हरिश्चंद्र की कहानी अद्भुत संवाद का प्रसारण सुना था। आवाज़ की ओर से आज हम लेकर आये हैं आचार्य चतुरसेन की कहानी " अब्बाजान ", जिसको स्वर दिया है अनुराग शर्मा ने। सुनें और बतायें कि हम अपने इस प्रयास में कितना सफल हुए हैं। कहानी का कुल प्रसारण समय है: 12 मिनट 39 सेकंड। यदि आप भी अपनी मनपसंद कहानियों, उपन्यासों, नाटकों, धारावाहिको, प्रहसनों, झलकियों, एकांकियों, लघुकथाओं को अपनी आवाज़ देना चाहते हैं तो अधिक जानकारी के लिए कृपया admin@radioplaybackindia.com पर सम्पर्क करें। आचार्य चतुरसेन (१८५०-१८८५) हर सप्ताह यहीं पर सुनें एक नयी कहानी “तो मैं सब्र ही करूंगा हुज़ूर! तमाम उम्र सब्र ही किया है।” ( आचार्य चतुरसेन की "अब्बाजान" से एक अंश ) नीचे के प्लेयर से सुनें. (प्लेयर पर एक बार क्लिक करें, कंट्रोल सक्रिय करें फ़िर 'प्ले' पर क्लिक करें।) यदि आप इस पॉडकास्ट को नहीं सुन पा रहे हैं तो नीचे दिये

भारतेंदु हरिश्चंद्र की अद्भुत संवाद - अनुराग शर्मा के स्वर में

बोलती कहानियाँ: भारतेंदु हरिश्चंद्र की अद्भुत संवाद 'बोलती कहानियाँ' इस स्तम्भ के अंतर्गत हम आपको सुनवा रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। पिछले सप्ताह आपने अनुराग शर्मा की आवाज़ में प्राख्यात स्वाधीनता सेनानी अमर शहीद पण्डित रामप्रसाद बिस्मिल की जीवनी से एक बहुचर्चित अंश " श्री अशफाक उल्ला खां – मैं मुसलमान तुम काफिर? " सुना था। आवाज़ की ओर से आज हम लेकर आये हैं भारतेंदु हरिश्चंद्र की कहानी " अद्भुत संवाद ", जिसको स्वर दिया है अनुराग शर्मा ने। सुनें और बतायें कि हम अपने इस प्रयास में कितना सफल हुए हैं। कहानी का कुल प्रसारण समय है: 1 मिनट 19 सेकंड। यदि आप भी अपनी मनपसंद कहानियों, उपन्यासों, नाटकों, धारावाहिको, प्रहसनों, झलकियों, एकांकियों, लघुकथाओं को अपनी आवाज़ देना चाहते हैं तो अधिक जानकारी के लिए कृपया admin@radioplaybackindia.com पर सम्पर्क करें। निज भाषा उन्नति अहै, सब उन्नति को मूल। बिन निज भाषा-ज्ञान के, मिटत न हिय को सूल।। ~ भारतेंदु हरिश्चंद्र (१८५०-१८८५) हर सप्ताह यहीं पर सुनें एक नयी कहानी “कूदेगा! भला कूदेगा क्यों? लो संभालो।”

बोलती कहानियाँ - फैसला (भीष्म साहनी)

'बोलती कहानियाँ' इस स्तम्भ के अंतर्गत हम आपको सुनवा रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। पिछले सप्ताह आपने शेफाली गुप्ता की आवाज़ में क्रांति त्रिवेदी की कहानी "एक पढ़ी लिखी स्त्री" का पॉडकास्ट सुना था। आज प्रस्तुत है, प्रसिद्ध लेखक, नाट्यकर्मी और अभिनेता श्री भीष्म साहनी की एक कहानी। मैं तब से उनका प्रशंसक हूँ जब पहली बार स्कूल में उनकी कहानी "अहम् ब्रह्मास्मि" पढी थी। सुनो कहानी में वही कहानी पढने की मेरी बहुत पुरानी इच्छा है परन्तु यहाँ उपलब्ध न होने के कारण आवाज़ की ओर से आज हम लेकर आये हैं उनकी एक और प्रसिद्ध कहानी "फ़ैसला" जिसको स्वर दिया है अर्चना चावजी ने। आशा है आपको पसंद आयेगी। कहानी का कुल प्रसारण समय 18 मिनट 5 सेकंड है। सुनें और बतायें कि हम अपने इस प्रयास में कितना सफल हुए हैं। यदि आप भी अपनी मनपसंद कहानियों, उपन्यासों, नाटकों, धारावाहिको, प्रहसनों, झलकियों, एकांकियों, लघुकथाओं को अपनी आवाज़ देना चाहते हैं हमसे संपर्क करें। अधिक जानकारी के लिए कृपया यहाँ देखें। भीष्म साहनी (1915-2003) हर सप्ताह सुनिए एक नयी कहानी पद्म भूषण

कहानी पॉडकास्ट - एक पढ़ी लिखी स्त्री - क्रांति त्रिवेदी - शेफाली गुप्ता

'बोलती कहानियाँ' इस स्तम्भ के अंतर्गत हम आपको सुनवा रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। पिछले सप्ताह आपने देवेन्द्र पाठक "मुन्ना" की आवाज़ में प्रसिद्ध हिंदी साहित्यकार हरिशंकर परसाई का व्यंग्य " मध्यम वर्गीय कुत्ता " का पॉडकास्ट सुना था। आवाज़ की ओर से आज हम लेकर आये हैं प्रसिद्ध हिंदी साहित्यकार क्रांति त्रिवेदी की कहानी " एक पढ़ी लिखी स्त्री ", जिसको स्वर दिया है शेफाली गुप्ता ने। एक पढ़ी लिखी स्त्री का पाठ्य अभिव्यक्ति पर उपलब्ध है। इस कहानी का कुल प्रसारण समय 8 मिनट 19 सेकंड है। सुनें और बतायें कि हम अपने इस प्रयास में कितना सफल हुए हैं। यदि आप भी अपनी मनपसंद कहानियों, उपन्यासों, नाटकों, धारावाहिको, प्रहसनों, झलकियों, एकांकियों, लघुकथाओं को अपनी आवाज़ देना चाहते हैं तो अधिक जानकारी के लिए कृपया admin@radioplaybackindia.com पर सम्पर्क करें। मध्य प्रदेश राष्ट्रभाषा प्रचार समिति के अध्यक्ष कैलाश पंत ने 30 अक्टूबर 2010 को घोषणा की कि मध्यप्रदेश में हर वर्ष युवा कथाकारों के लिए क्रांति त्रिवेदी पुरस्कार दिया जायेगा। क्रांति त्रिवेदी  ~ जन

बोलती कहानियाँ - मध्यम वर्गीय कुत्ता - हरिशंकर परसाई - देवेन्द्र पाठक

'बोलती कहानियाँ' इस स्तम्भ के अंतर्गत हम आपको सुनवा रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। पिछले सप्ताह आपने अनुराग शर्मा की आवाज़ में अभिषेक ओझा की कहानी " वो लोग ही कुछ और होते हैं " का पॉडकास्ट सुना था। आवाज़ की ओर से आज हम लेकर आये हैं प्रसिद्ध हिंदी साहित्यकार हरिशंकर परसाई का व्यंग्य " मध्यम वर्गीय कुत्ता ", जिसको स्वर दिया है देवेन्द्र पाठक "मुन्ना" ने। कहानी का कुल प्रसारण समय 7 मिनट 17 सेकंड है। सुनें और बतायें कि हम अपने इस प्रयास में कितना सफल हुए हैं। इस कथा का टेक्स्ट बेचैन आत्मा पर उपलब्ध है। यदि आप भी अपनी मनपसंद कहानियों, उपन्यासों, नाटकों, धारावाहिको, प्रहसनों, झलकियों, एकांकियों, लघुकथाओं को अपनी आवाज़ देना चाहते हैं तो अधिक जानकारी के लिए कृपया admin@radioplaybackindia.com पर सम्पर्क करें। मेरी जन्म-तारीख 22 अगस्त 1924 छपती है। यह भूल है। तारीख ठीक है। सन् गलत है। सही सन् 1922 है। । ~ हरिशंकर परसाई (1922-1995) हर सप्ताह सुनें एक नयी कहानी कुत्तेवाले घर मुझे अच्छे नहीं लगते। वहाँ जाओ तो मेजबान के पहले कुत्ता भौंकक

वो लोग ही कुछ और होते हैं - अभिषेक ओझा

'बोलती कहानियां' इस स्तम्भ के अंतर्गत हम आपको सुनवा रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। पिछली बार आपने उषा महाजन की कहानी " बचपन " का पॉडकास्ट शेफाली गुप्ता की आवाज़ में सुना था। आज हम आपकी सेवा में प्रस्तुत कर रहे हैं अभिषेक ओझा की कहानी " वो लोग ही कुछ और होते हैं ", आवाज़ अनुराग शर्मा की। कहानी "वो लोग ही कुछ और होते हैं" का कुल प्रसारण समय 3 मिनट 59 सेकंड है। सुनें और बतायें कि हम अपने इस प्रयास में कितना सफल हुए हैं। इस कथा का टेक्स्ट ओझा-उवाच पर उपलब्ध है। यदि आप भी अपनी मनपसंद कहानियों, उपन्यासों, नाटकों, धारावाहिको, प्रहसनों, झलकियों, एकांकियों, लघुकथाओं को अपनी आवाज़ देना चाहते हैं तो अधिक जानकारी के लिए कृपया admin@radioplaybackindia.com पर सम्पर्क करें। वास्तविकता तो ये है कि किसे फुर्सत है मेरे बारे में सोचने की, लेकिन ये मानव मन भी न! ~ अभिषेक ओझा हर मंगलवार को आवाज़ पर सुनें एक नयी कहानी "उस दुपहरी की लू में लोगों को काम करते देख थोड़ी शर्मिन्दगी तो जरुर हुई और शायद यही कारण था कि मैंने उस आदमी पर ध्यान दिया।"

कहानी पॉडकास्ट - बचपन - उषा महाजन - शेफाली गुप्ता

'बोलती कहानियाँ' इस स्तम्भ के अंतर्गत हम आपको सुनवा रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। पिछली बार आपने शेफाली गुप्ता की आवाज़ में उषा प्रियंवदा की कथा " वापसी " का पॉडकास्ट सुना था। आवाज़ की ओर से आज हम लेकर आये हैं प्रसिद्ध हिंदी साहित्यकार उषा महाजन की कहानी " बचपन ", जिसको स्वर दिया है शेफाली गुप्ता ने। बिखरते रिश्ते का पाठ्य अभिव्यक्ति पर उपलब्ध है। इस कहानी का कुल प्रसारण समय 17 मिनट 41 सेकंड है। सुनें और बतायें कि हम अपने इस प्रयास में कितना सफल हुए हैं। यदि आप भी अपनी मनपसंद कहानियों, उपन्यासों, नाटकों, धारावाहिको, प्रहसनों, झलकियों, एकांकियों, लघुकथाओं को अपनी आवाज़ देना चाहते हैं तो अधिक जानकारी के लिए कृपया admin@radioplaybackindia.com पर सम्पर्क करें। उषा महाजन एक स्वतन्त्र पत्रकार हैं। ~ जन्म : 30 सितम्बर, 1948, देवरिया (उ.प्र.). इलाहाबाद विश्वविद्यालय से स्नातक (1968 में). हिन्दी अकादमी का ‘साहित्यिक कृति सम्मान, के. के. बिड़ला फाउण्डेशन फेलोशिप (1993-1994) हर शुक्रवार को "बोलती कहानियाँ" पर सुनें एक नयी कहानी "बहुत म

कहानी पॉडकास्ट - वापसी - उषा प्रियंवदा - शेफाली गुप्ता

'बोलती कहानियाँ' इस स्तम्भ के अंतर्गत हम आपको सुनवा रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। पिछले सप्ताह आपने शेफाली गुप्ता की आवाज़ में सुधा ओम ढींगरा की कथा " बिखरते रिश्ते " का पॉडकास्ट सुना था। आवाज़ की ओर से आज हम लेकर आये हैं प्रसिद्ध हिंदी साहित्यकार उषा प्रियंवदा की कहानी " वापसी ", जिसको स्वर दिया है शेफाली गुप्ता ने। "वापसी" का पाठ्य हिन्दी साहित्य ब्लॉग पर उपलब्ध है। इस कहानी का कुल प्रसारण समय 22 मिनट 10 सेकंड है। सुनें और बतायें कि हम अपने इस प्रयास में कितना सफल हुए हैं। यदि आप भी अपनी मनपसंद कहानियों, उपन्यासों, नाटकों, धारावाहिको, प्रहसनों, झलकियों, एकांकियों, लघुकथाओं को अपनी आवाज़ देना चाहते हैं तो अधिक जानकारी के लिए कृपया admin@radioplaybackindia.com पर सम्पर्क करें। उषा प्रियंवदा आज हिंदी कहानी का एक महत्वपूर्ण हस्ताक्षर हैं। परिवार और समाज की विसंगतियों और विडंबनाओं को उन्होंने जितनी सूक्ष्मता से चित्रित किया है, उतनी ही व्यापकता में व्यक्ति के बाह्य और आंतरिक संसार के बीच के संबंध को भी उकेरा है। tu। हर शुक्रवार को &qu

कहानी पॉडकास्ट - बिखरते रिश्ते - सुधा ओम ढींगरा - शेफाली गुप्ता

'बोलती कहानियाँ' इस स्तम्भ के अंतर्गत हम आपको सुनवा रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। पिछले सप्ताह आपने अर्चना चावजी की आवाज़ में प्रसिद्ध हिंदी साहित्यकार हरिशंकर परसाई की कथा " चौबे जी " का पॉडकास्ट सुना था। आवाज़ की ओर से आज हम लेकर आये हैं सुधा ओम ढींगरा द्वारा लिखित हृदयस्पर्शी कहानी " बिखरते रिश्ते ", जिसको स्वर दिया है शेफाली गुप्ता ने। बिखरते रिश्ते का पाठ्य रचनाकार ब्लॉग पर उपलब्ध है। इस कहानी का कुल प्रसारण समय 19 मिनट 38 सेकंड है। सुनें और बतायें कि हम अपने इस प्रयास में कितना सफल हुए हैं। यदि आप भी अपनी मनपसंद कहानियों, उपन्यासों, नाटकों, धारावाहिको, प्रहसनों, झलकियों, एकांकियों, लघुकथाओं को अपनी आवाज़ देना चाहते हैं तो अधिक जानकारी के लिए कृपया admin@radioplaybackindia.com पर सम्पर्क करें। यहाँ तो बच्चे तीन-चार भाषाएँ सीखते हैं, पर बोलते अपनी मातृभाषा हैं। इसके लिए माँ-बाप को कोशिश करने की बहुत जरूरत है। हिंदी को लेकर कुंठित न हों। ~ सुधा ओम ढींगरा सुधा ओम ढींगरा अमेरिका में हिंदी के प्रचार-प्रसार के लिए जुटीं हैं। वे नार्थ कैरोलाईना

कहानी पॉडकास्ट - चौबे जी - हरिशंकर परसाई - अर्चना चावजी

'बोलती कहानियाँ' इस स्तम्भ के अंतर्गत हम आपको सुनवा रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। पिछले सप्ताह आपने शेफाली गुप्ता की आवाज़ में श्रीमती रीता पाण्डेय की रचना " नज़ीर मियाँ की खिचड़ी " का पॉडकास्ट सुना था। आवाज़ की ओर से आज हम लेकर आये हैं प्रसिद्ध हिंदी साहित्यकार हरिशंकर परसाई का व्यंग्य " चौबे जी ", जिसको स्वर दिया है अर्चना चावजी ने। कहानी का कुल प्रसारण समय 5 मिनट 13 सेकंड है। सुनें और बतायें कि हम अपने इस प्रयास में कितना सफल हुए हैं। यदि आप भी अपनी मनपसंद कहानियों, उपन्यासों, नाटकों, धारावाहिको, प्रहसनों, झलकियों, एकांकियों, लघुकथाओं को अपनी आवाज़ देना चाहते हैं तो अधिक जानकारी के लिए कृपया admin@radioplaybackindia.com पर सम्पर्क करें। मेरी जन्म-तारीख 22 अगस्त 1924 छपती है। यह भूल है। तारीख ठीक है। सन् गलत है। सही सन् 1922 है। ।  ~ हरिशंकर परसाई (1922-1995) हर शुक्रवार को "बोलती कहानियाँ" पर सुनें एक नयी कहानी "आयुष्मान अब डिप्टी कलक्टर हो गया है।" ( हरिशंकर परसाई की "चौबे जी" से एक अंश ) नीचे के प्लेयर स

कहानी पॉडकास्ट: नज़ीर मियाँ की खिचड़ी (श्रीमती रीता पाण्डेय)

'बोलती कहानियाँ' इस स्तम्भ के अंतर्गत हम आपको सुनवा रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। पिछले सप्ताह आपने अर्चना चावजी की आवाज़ में प्रसिद्ध हिंदी साहित्यकार हरिशंकर परसाई की कथा " बाप बदल " का पॉडकास्ट सुना था। आवाज़ की ओर से आज हम लेकर आये हैं श्रीमती रीता पाण्डेय का व्यंग्य " नज़ीर मियाँ की खिचड़ी ", जिसको स्वर दिया है शेफाली गुप्ता ने। नज़ीर मियाँ की खिचड़ी का टेक्स्ट श्री ज्ञानदत्त पाण्डेय के प्रसिद्ध ब्लॉग मानसिक हलचल पर अतिथि पोस्ट के रूप में उपलब्ध है। इस कहानी का कुल प्रसारण समय 5 मिनट 8 सेकंड है। सुनें और बतायें कि हम अपने इस प्रयास में कितना सफल हुए हैं। यदि आप भी अपनी मनपसंद कहानियों, उपन्यासों, नाटकों, धारावाहिको, प्रहसनों, झलकियों, एकांकियों, लघुकथाओं को अपनी आवाज़ देना चाहते हैं तो अधिक जानकारी के लिए कृपया admin@radioplaybackindia.com पर सम्पर्क करें। जब तक कसा न जाये, तब तक कोई सक्रिय नहीं होता, न व्यक्ति न तन्त्र। ~ श्रीमती रीता पाण्डेय (श्रीमती रीता पाण्डेय गाँव विक्रमपुर, जिला भदोही से हैं। वे सपरिवार शिवकुटी (उ.प्र.) में रहती है

कहानी पॉडकास्ट: "बाप बदल" व "लड़ाई" - हरिशंकर परसाई - अर्चना चावजी

'बोलती कहानियाँ' इस स्तम्भ के अंतर्गत हम आपको सुनवा रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। पिछले सप्ताह आपने शेफाली गुप्ता की आवाज़ में श्रीमती रीता पाण्डेय की रचना " संकठा प्रसाद लौट आये हैं " का पॉडकास्ट सुना था। आवाज़ की ओर से आज हम लेकर आये हैं प्रसिद्ध हिंदी साहित्यकार हरिशंकर परसाई के दो व्यंग्य " बाप बदल ", एवं " लड़ाई " जिन्हें स्वर दिया है अर्चना चावजी ने। इन दो कहानियों का कुल प्रसारण समय 5 मिनट 29 सेकंड है। सुनें और बतायें कि हम अपने इस प्रयास में कितना सफल हुए हैं। यदि आप भी अपनी मनपसंद कहानियों, उपन्यासों, नाटकों, धारावाहिको, प्रहसनों, झलकियों, एकांकियों, लघुकथाओं को अपनी आवाज़ देना चाहते हैं तो अधिक जानकारी के लिए कृपया admin@radioplaybackindia.com पर सम्पर्क करें। मेरी जन्म-तारीख 22 अगस्त 1924 छपती है। यह भूल है। तारीख ठीक है। सन् गलत है। सही सन् 1922 है। ।  ~ हरिशंकर परसाई (1922-1995) हर शुक्रवार को "बोलती कहानियाँ" पर सुनें एक नयी कहानी "उनका सौवाँ जन्मदिन तब पड़ रहा था जब उनका लड़का मुख्यमंत्री था।" ( ह

कहानी पॉडकास्ट - संकठा प्रसाद लौट आये हैं - रीता पाण्डेय

'बोलती कहानियाँ' इस स्तम्भ के अंतर्गत हम आपको सुनवा रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। पिछले सप्ताह आपने अर्चना चावजी की आवाज़ में प्रसिद्ध हिंदी साहित्यकार हरिशंकर परसाई की कथा " सुशीला " का पॉडकास्ट सुना था। आवाज़ की ओर से आज हम लेकर आये हैं श्रीमती रीता पाण्डेय की रचना " संकठा प्रसाद लौट आये हैं ", जिसको स्वर दिया है शेफाली गुप्ता ने। संकठा प्रसाद लौट आये हैं का टेक्स्ट श्री ज्ञानदत्त पाण्डेय के प्रसिद्ध ब्लॉग मानसिक हलचल पर अतिथि पोस्ट के रूप में उपलब्ध है। इस कहानी का कुल प्रसारण समय 4 मिनट 24 सेकंड है। सुनें और बतायें कि हम अपने इस प्रयास में कितना सफल हुए हैं। यदि आप भी अपनी मनपसंद कहानियों, उपन्यासों, नाटकों, धारावाहिको, प्रहसनों, झलकियों, एकांकियों, लघुकथाओं को अपनी आवाज़ देना चाहते हैं तो अधिक जानकारी के लिए कृपया admin@radioplaybackindia.com पर सम्पर्क करें। जब तक कसा न जाये, तब तक कोई सक्रिय नहीं होता, न व्यक्ति न तन्त्र। ~ श्रीमती रीता पाण्डेय श्रीमती रीता पाण्डेय गाँव विक्रमपुर, जिला भदोही से हैं। वे सपरिवार शिवकुटी (उ.प्र.) में रहती

कहानी पॉडकास्ट - सुशीला - हरिशंकर परसाई - अर्चना चावजी

'बोलती कहानियाँ' इस स्तम्भ के अंतर्गत हम आपको सुनवा रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। पिछले सप्ताह आपने अनुराग शर्मा की आवाज़ में कामेश्वर की मार्मिक कथा " चप्पल " का पॉडकास्ट सुना था। आवाज़ की ओर से आज हम लेकर आये हैं प्रसिद्ध हिंदी साहित्यकार हरिशंकर परसाई का व्यंग्य " सुशीला ", जिसको स्वर दिया है अर्चना चावजी ने। कहानी का कुल प्रसारण समय 3 मिनट 3 सेकंड है। सुनें और बतायें कि हम अपने इस प्रयास में कितना सफल हुए हैं। यदि आप भी अपनी मनपसंद कहानियों, उपन्यासों, नाटकों, धारावाहिको, प्रहसनों, झलकियों, एकांकियों, लघुकथाओं को अपनी आवाज़ देना चाहते हैं तो अधिक जानकारी के लिए कृपया admin@radioplaybackindia.com पर सम्पर्क करें। मेरी जन्म-तारीख 22 अगस्त 1924 छपती है। यह भूल है। तारीख ठीक है। सन् गलत है। सही सन् 1922 है। । ~ हरिशंकर परसाई (1922-1995) हर शनिवार को "बोलती कहानियाँ" पर सुनें एक नयी कहानी "आम बाज़ार भाव से तो लड़के की क़ीमत मांगते ही थे, इनके अशुद्ध होने का दण्ड पाँच छह हज़ार और मांगते थे।" ( हरिशंकर परसाई की "सुशीला&q

बालकवि बैरागी की कहानी "बाइज्जत बरी"

'बोलती कहानियाँ' इस स्तम्भ के अंतर्गत हम आपको सुनवा रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। पिछले सप्ताह आपने युवा लेखक गिरिजेश राव की कहानी " "गुम्मी" " का पॉडकास्ट अनुराग शर्मा की आवाज़ में सुना था। आज हम आपकी सेवा में प्रस्तुत कर रहे हैं श्री बालकवि बैरागी की कहानी " बाइज्जत बरी ", जिसको स्वर दिया है अनुराग शर्मा ने। कहानी "बाइज्जत बरी" का कुल प्रसारण समय 4 मिनट 7 सेकंड है। सुनें और बतायें कि हम अपने इस प्रयास में कितना सफल हुए हैं। इस कथा का टेक्स्ट एकोऽहम् पर उपलब्ध है। यदि आप भी अपनी मनपसंद कहानियों, उपन्यासों, नाटकों, धारावाहिको, प्रहसनों, झलकियों, एकांकियों, लघुकथाओं को अपनी आवाज़ देना चाहते हैं तो अधिक जानकारी के लिए कृपया admin@radioplaybackindia.com पर सम्पर्क करें। "जब हिन्दी के सामने ही अस्तित्व का संकट है तो बोलियों की सुरक्षा के लिये तो हमें ही आगे आना होगा।" ~ बालकवि बैरागी हर हफ्ते रेडियो प्लेबैक पर सुनें एक नयी कहानी "एक तो तस्कर और पुलिस की मिली-भगत और दूसरी - खुद को चतुर-चालाक, सक्षम और कुशल सा

गिरिजेश राव की कहानी "गुम्मी"

'बोलती कहानियाँ' इस स्तम्भ के अंतर्गत हम आपको सुनवा रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। पिछले सप्ताह आपने युवा लेखक अभिषेक ओझा की कहानी " "अच्छा बुरा" " का पॉडकास्ट एकता अग्रवाल की आवाज़ में सुना था। आज हम आपकी सेवा में प्रस्तुत कर रहे हैं गिरिजेश राव की कहानी " गुम्मी ", जिसको स्वर दिया है अनुराग शर्मा ने। कहानी "गुम्मी" का कुल प्रसारण समय 4 मिनट 14 सेकंड है। सुनें और बतायें कि हम अपने इस प्रयास में कितना सफल हुए हैं। इस कथा का टेक्स्ट एक आलसी का चिठ्ठा पर उपलब्ध है। यदि आप भी अपनी मनपसंद कहानियों, उपन्यासों, नाटकों, धारावाहिको, प्रहसनों, झलकियों, एकांकियों, लघुकथाओं को अपनी आवाज़ देना चाहते हैं तो अधिक जानकारी के लिए कृपया admin@radioplaybackindia.com पर सम्पर्क करें। "पास बैठो कि मेरी बकबक में नायाब बातें होती हैं। तफसील पूछोगे तो कह दूँगा,मुझे कुछ नहीं पता " ~ गिरिजेश राव हर हफ्ते रेडियो प्लेबैक पर सुनें एक नयी कहानी "वे दोनों बहुत नाराज़ हुए कि रात को ही बताना था। असल में वे सुखदा में घबराहट की कमी देख कु

हरिशंकर परसाई की कहानी "अश्‍लील"

इस साप्ताहिक स्तम्भ "बोलती कहानियाँ" के अंतर्गत हम हर शुक्रवार को आपको सुनवा रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। पिछले सप्ताह आपने रचना बजाज जी की कहानी " अपनापन " सुनी थी अर्चना चावजी के स्वर में। आज हम आपकी सेवा में प्रस्तुत कर रहे हैं प्रसिद्ध हिंदी साहित्यकार हरिशंकर परसाई का व्यंग्य अश्‍लील जिसे स्वर दिया है अनुराग शर्मा ने। कहानी "अश्‍लील" का टेक्स्ट कबाड़खाना पर उपलब्ध है। इस कथा का कुल प्रसारण समय 2 मिनट 46 सेकंड है। सुनें और बतायें कि हम अपने इस प्रयास में कितना सफल हुए हैं। यदि आप भी अपनी मनपसंद कहानियों, उपन्यासों, नाटकों, धारावाहिको, प्रहसनों, झलकियों, एकांकियों, लघुकथाओं को अपनी आवाज़ देना चाहते हैं तो अधिक जानकारी के लिए कृपया admin@radioplaybackindia.com पर सम्पर्क करें। मेरी जन्म-तारीख 22 अगस्त 1924 छपती है। यह भूल है। तारीख ठीक है। सन् गलत है। सही सन् 1922 है। । ~ हरिशंकर परसाई (1922-1995) हर शनिवार को आवाज़ पर सुनें एक नयी कहानी अखबारों में समाचार और नागरिकों के पत्र छपते कि सड़कों के किनारे खुलेआम अश्‍लील पुस्‍तकें बिक रह

रचना बजाज की कहानी "अपनापन"

इस साप्ताहिक स्तम्भ "बोलती कहानियाँ" के अंतर्गत हम हर शुक्रवार को आपको सुनवा रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। आज हम आपकी सेवा में प्रस्तुत कर रहे हैं रचना बजाज जी की कहानी अपनापन जिसे स्वर दिया है अर्चना चावजी ने। कहानी "अपनापन" का कुल प्रसारण समय 2 मिनट 32 सेकंड है। सुनें और बतायें कि हम अपने इस प्रयास में कितना सफल हुए हैं। जो धनी बनुँ तो दान करुँ, शिक्षित हूँ तो बाटुँ शिक्षा; इस जीवन मे पाई है, बस इतनी ही मैने दीक्षा।  ~ रचना बजाज हर शनिवार को आवाज़ पर सुनें एक नयी कहानी फ़ातिमा चाची भी झट उनके पास आकर कहती , आरती दीदी मुझे भी अपने लिये बनाना है, मुझे भी सिखाओ ना!  ( रचना बजाज की "अपनापन" से एक अंश ) नीचे के प्लेयर से सुनें. (प्लेयर पर एक बार क्लिक करें, कंट्रोल सक्रिय करें फ़िर 'प्ले' पर क्लिक करें।)  यदि आप इस पॉडकास्ट को नहीं सुन पा रहे हैं तो नीचे दिये गये लिंक से डाऊनलोड कर लें: अपनापन MP3 #15th Story, Apanapan: Rachana Bajaj/Hindi Audio Book/2012/15. Voice: Archana Chaoji

ऑडियो कहानी: कौव्वा (विष्णु बैरागी)

इस साप्ताहिक स्तम्भ "बोलती कहानियाँ" के अंतर्गत हम हर शुक्रवार को आपको सुनवा रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। पिछले सप्ताह आपने अनुराग शर्मा की आवाज़ में उन्हीं की कहानी "भोला" का पॉडकास्ट सुना था। आज हम आपकी सेवा में प्रस्तुत कर रहे हैं श्रीयुत सुरेशचन्द्रजी करमरकर के पत्र पर आधारित एक किस्सा " कौव्वा " जिसे विष्णु बैरागी जी के ब्लॉग एकोऽहम् से लिया गया है। इसे स्वर दिया है अनुराग शर्मा ने। कहानी "कौव्वा" का कुल प्रसारण समय 2 मिनट 32 सेकंड है। सुनें और बतायें कि हम अपने इस प्रयास में कितना सफल हुए हैं।  इस कथा का टेक्स्ट एकोऽहम् ब्लॉग पर उपलब्ध है। यदि आप भी अपनी मनपसंद कहानियों, उपन्यासों, नाटकों, धारावाहिको, प्रहसनों, झलकियों, एकांकियों, लघुकथाओं को अपनी आवाज़ देना चाहते हैं तो अधिक जानकारी के लिए कृपया admin@radioplaybackindia.com पर सम्पर्क करें। भ्रष्टाचार का लालच मनुष्य की आत्मा को मार देता है।  ~ विष्णु बैरागी हर शनिवार को आवाज़ पर सुनें एक नयी कहानी संयोग की बात कि ये सज्जन अगले दिन फिर बिना हेलमेट के निकल पड़े और एक चौ