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सिने पहली - 66

सिने-पहेली # 66 ' रेडियो प्लेबैक इण्डिया ' के सभी श्रोता-पाठकों को अमित तिवारी का नमस्कार! सिने पहेली के 65 वें अंक में तो वाकई धूम धड़ाका हो गया. आई. पी.एल जरूर ख़त्म हो गया पर लखनऊ से चन्द्रकांत दीक्षित जी ने क्रिस गेल के स्टाइल में शानदार ढंग से पहेली प्रकाशित होने के 15 मिनट के अंदर सभी सवालों के सही उत्तर देकर  सरताज विजेता का ख़िताब अपने नाम कर लिया.  साथ ही इस सेगमेंट में अपना खाता खोला गढ़ बनेली, पूर्णिया बिहार से शोएब अख्तर जी ने. शोएब जी आपका स्वागत है सिने पहेली में. इस बार सभी प्रतियोगी पूर्ण अंक प्राप्त करने में सफल रहे. आप सबको बधाईयाँ. पहेली के उत्तर नीचे दिए गए हैं .  चलिए, अब तैयार हो जाइए अपने-अपने फ़िल्मी ज्ञान को आज़माने के लिए, अपने दिमाग़ पर ज़ोर डालने के लिए और हम शुरू करते हैं एक और नयी ताज़ा पहेली. आज से इस प्रतियोगिता में जुड़ने वाले नये खिलाड़ियों का स्वागत करते हुए हम उन्हें यह भी बताना चाहेंगे कि अभी भी कुछ देर नहीं हुई है , आज से इस प्रतियोगिता में जुड़ कर भी आप महाविजेता बन सकते हैं , यही इस प्रतियोगिता की ख़ासियत है। इस प्रतियोगिता

सुनें राग तिलक कामोद में स्वरबद्ध कुछ सुरीले फ़िल्मी गीत संज्ञा टंडन के साथ

प्लेबैक  इंडिया ब्रोडकास्ट राग तिलक कामोद  स्वर एवं प्रस्तुति - संज्ञा टंडन  स्क्रिप्ट - कृष्णमोहन मिश्र

सच्‍चिदानन्‍द हीरानन्‍द वात्‍स्‍यायन 'अज्ञेय' रचित "मुस्लिम-मुस्लिम भाई-भाई"

इस साप्ताहिक स्तम्भ "बोलती कहानियाँ" के अंतर्गत हम हर सप्ताह आपको सुनवाते रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। पिछले सप्ताह आपने अनुराग शर्मा के स्वर में सुभद्रा कुमारी चौहान की व्यंग्यात्मक कहानी " जम्बक की डिबिया " का पाठ सुना था। आज हम आपकी सेवा में प्रस्तुत कर रहे हैं हिन्दी के प्रसिद्ध साहित्यकार सच्‍चिदानन्‍द हीरानन्‍द वात्‍स्‍यायन 'अज्ञेय' की भारत के विभाजन के दुष्काल पर आधारित मार्मिक कहानी मुस्लिम-मुस्लिम भाई-भाई जिसे स्वर दिया है अनुराग शर्मा ने। कहानी "मुस्लिम-मुस्लिम भाई-भाई" का गद्य स्वार्थ पर उपलब्ध है। इस कथा का कुल प्रसारण समय 9 मिनट 29 सेकंड है। सुनें और बतायें कि हम अपने इस प्रयास में कितना सफल हुए हैं। यदि आप भी अपनी मनपसंद कहानियों, उपन्यासों, नाटकों, धारावाहिको, प्रहसनों, झलकियों, एकांकियों, लघुकथाओं को अपनी आवाज़ देना चाहते हैं तो अधिक जानकारी के लिए कृपया admin@radioplaybackindia.com पर सम्पर्क करें। लेखक और पत्रकार सच्‍चिदानन्‍द हीरानन्‍द वात्‍स्‍यायन एक प्रसिद्ध स्वाधीनता संग्राम सेनानी भी थे। 1930 में क्र