मित्रों,
आज से आवाज़ पर शुरू हो रहा है, संगीत का एक नया उत्सव,"पहला सुर" के कामियाब प्रयोग के बाद संगीत का ये नया सत्र शुरू करते हुए, हिंद युग्म उम्मीद करता है कि इस सत्र में प्रस्तुत होने वाले सभी गीत आपको और अधिक पसंद आयेंगे, जो संगीतकार हमारे साथ पहली एल्बम में जुड़े थे उनके भी संगीत में आप गजब की परिपक्वता देंखेंगे और उससे भी ज्यादा खुशी की बात यह है कि जो नए संगीतकार इस बार जुड़े हैं, सभी नौजवान हैं और बेहद गुणी हैं अपने फन में.
संयोगवश जिस गीत को हमने इस सत्र की शुरुवात करने के लिए चुना है, वो भी दस्तक है एक नए युवा संगीतकार जोड़ी की, जो दूर केरल के दो प्रान्तों में रहते हैं और कोयम्बतूर के करुणया महाविद्यालय से b-tech की पढ़ाई कर रहे हैं, इनके नाम है निखिल और चार्ल्स, निखिल के संगीत में जहाँ बारिश में भीगी मिटटी की सौंधी सौंधी महक मिलेगी आपको, तो चार्ल्स के गायन में किसी निर्झर सा प्रवाह, एक और आवाज़ है इस गीत में, गायिका मिथिला की, जिन्होंने बाखूबी साथ दिया है इस जोड़ी का, इस गीत को और खूबसूरत बनाने में, सजीव सारथी के लिखे, इस गीत को अपने एक दोस्त के होम स्टूडियो में दो दिन लगातार १०- १० घंटे काम कर मुक्कमल किया है-निखिल और चार्ल्स की टीम ने, इनकी मेहनत कहाँ तक सफल हुई है, सुन कर बताएं, और कोई सुधार की गंजाइश बता कर आप इन्हें मार्गदर्शन दें, तो प्रस्तुत है समीक्षा के लिए, आपके समुख हिंद युग्म का यह पहला नज़राना
Friends,
After the glorious success of Hind Yugm's debut album Pahla Sur, we are happy to announce the beginning of a new season of music @ Hindyugm, Where Music is a Passion, we wish all our existing and new composers a very happy music year ahead.
From today onwards,till December 31st, we will release a new song every Friday, so all you music lovers, mark your Fridays as music Fridays, from now on. We will surly give your ears a grand musical treat.
We are proudly opening this season from a song called " Sangeet Dilon Ka Utsav Hai ", composed by a composer duo from south Nikhil and Charles, and penned by Sajeev Sarathie, this song speaks about the magic of music,which make our lives so colourful. This song completed after 10-10 long hours of jammng for 2 complete days by the team, and very beautifully rendered by Charles and Mithila. So enjoy this soulful melody and leave your comments. so friends, Here comes THE FIRST SONG OF THE SEASON for you – LISTEN AND ENJOY
गीत के बोल -
जब सुर खनकते हैं,
बेजान साजों से,
आवाज़ के पंखों पर उड़ने लगता है कोई गीत जब,
झूम झूम लहराते हैं ये दिल क्योंकि..
संगीत दिलों का उत्सव है,
संगीत दिलों का उत्सव है...उत्सव है.....
गीतों के रंग न हो तो, नीरस है ये जीवन,
सरगम के सुर न छिड़े तो, सूना है मन आंगन,
हवाओं में संगीत है,
लहरों में संगीत है,
संगीत है बारिश की रिमझिम में,
धड़कन में संगीत है,
सांसों में संगीत है,
संगीत है कुदरत के कण कण में,
जब ताल से उठे,
दिल की सदा कोई,
हौले से ख्वाबों को सहला जाता है कोई गीत जब,
घूम घूम बलखाते हैं ये दिल क्योंकि...
संगीत दिलों का उत्सव है,
संगीत दिलों का उत्सव है...उत्सव है.....
गहरे ये रिश्ते हैं, संग रोते हँसते हैं,
सुख दुःख के सब मौसम, गीतों में बसते हैं,
कभी गूंजे बांसुरी,
वीणा की धुन कभी,
कभी ढोल मंजीरे बजते हैं,
तबले की थाप पर,
कभी नाचता है मन,
कभी सुर सितार के बहते हैं,
जब ताल से उठे,
दिल की सदा कोई,
धीमे से यादों को धड़का जाता है कोई गीत जब,
साथ साथ गुनुगुनाते हैं ये दिल क्योंकि ...
संगीत दिलों का उत्सव है,
संगीत दिलों का उत्सव है...उत्सव है.....
जब सुर खनकते हैं.....
Lyrics
jab sur khankte hain,
bezaan sajon se,
awaaz ke pankhon par udne lagta hai koi geet jab,
jhoom jhoom lehrate hain ye dil kyonki...
sangeet dilon ka utsav hai,
sangeet dilon ka utsav hai.... utsav hai....
geeton ke rang na ho to, neeras hai ye jeevan,
sargam ke sur na chide to, sunaa hai man aangan,
hawavon men sangeet hai,
lehron men sangeet hai,
sangeet hai barish ki rimjhim men,
dhadkan men sangeet hai,
sanson men sangeet hai,
sangeet hai kudrat ke kan kan men,
jab taal se uthe,
dil ki sada koi,
haule se khwabon ko sahla jaata hai koi geet jab,
ghoom ghoom balkhate hain ye dil kyonki...
sangeet dilon ka utsav hai,
sangeet dilon ka utsav hai.... utsav hai....
gahre ye rishte hain, sang rote hanste hain,
sukh dukh ke sab mausam, geeton men baste hain,
kabhi gunje bansuri,
veena ki dhun kabhi,
kabhi dhol manjeere bajte hain,
tablee ki thaap par,
kabhi nachta hai man,
kabhi sur sitaar ke bahte hain,
jab taal se uthe,
dil ki sada koi,
dheeme se yadon ko dhadka jaata hai koi geet jab,
saath saath gungunate hain ye dil kyonki...
sangeet dilon ka utsav hai,
sangeet dilon ka utsav hai.... utsav hai....
jab sur khankte hain......
You can download the song according to your prefrence from here -
यदि आप इस पॉडकास्ट को नहीं सुन पा रहे हैं तो नीचे दिये गये लिंकों से डाऊनलोड कर लें (ऑडियो फ़ाइल तीन अलग-अलग फ़ॉरमेट में है, अपनी सुविधानुसार कोई एक फ़ॉरमेट चुनें)
SANGEET DILON KA UTSAV HAI
आज से आवाज़ पर शुरू हो रहा है, संगीत का एक नया उत्सव,"पहला सुर" के कामियाब प्रयोग के बाद संगीत का ये नया सत्र शुरू करते हुए, हिंद युग्म उम्मीद करता है कि इस सत्र में प्रस्तुत होने वाले सभी गीत आपको और अधिक पसंद आयेंगे, जो संगीतकार हमारे साथ पहली एल्बम में जुड़े थे उनके भी संगीत में आप गजब की परिपक्वता देंखेंगे और उससे भी ज्यादा खुशी की बात यह है कि जो नए संगीतकार इस बार जुड़े हैं, सभी नौजवान हैं और बेहद गुणी हैं अपने फन में.
संयोगवश जिस गीत को हमने इस सत्र की शुरुवात करने के लिए चुना है, वो भी दस्तक है एक नए युवा संगीतकार जोड़ी की, जो दूर केरल के दो प्रान्तों में रहते हैं और कोयम्बतूर के करुणया महाविद्यालय से b-tech की पढ़ाई कर रहे हैं, इनके नाम है निखिल और चार्ल्स, निखिल के संगीत में जहाँ बारिश में भीगी मिटटी की सौंधी सौंधी महक मिलेगी आपको, तो चार्ल्स के गायन में किसी निर्झर सा प्रवाह, एक और आवाज़ है इस गीत में, गायिका मिथिला की, जिन्होंने बाखूबी साथ दिया है इस जोड़ी का, इस गीत को और खूबसूरत बनाने में, सजीव सारथी के लिखे, इस गीत को अपने एक दोस्त के होम स्टूडियो में दो दिन लगातार १०- १० घंटे काम कर मुक्कमल किया है-निखिल और चार्ल्स की टीम ने, इनकी मेहनत कहाँ तक सफल हुई है, सुन कर बताएं, और कोई सुधार की गंजाइश बता कर आप इन्हें मार्गदर्शन दें, तो प्रस्तुत है समीक्षा के लिए, आपके समुख हिंद युग्म का यह पहला नज़राना
Friends,
After the glorious success of Hind Yugm's debut album Pahla Sur, we are happy to announce the beginning of a new season of music @ Hindyugm, Where Music is a Passion, we wish all our existing and new composers a very happy music year ahead.
From today onwards,till December 31st, we will release a new song every Friday, so all you music lovers, mark your Fridays as music Fridays, from now on. We will surly give your ears a grand musical treat.
We are proudly opening this season from a song called " Sangeet Dilon Ka Utsav Hai ", composed by a composer duo from south Nikhil and Charles, and penned by Sajeev Sarathie, this song speaks about the magic of music,which make our lives so colourful. This song completed after 10-10 long hours of jammng for 2 complete days by the team, and very beautifully rendered by Charles and Mithila. So enjoy this soulful melody and leave your comments. so friends, Here comes THE FIRST SONG OF THE SEASON for you – LISTEN AND ENJOY
गीत के बोल -
जब सुर खनकते हैं,
बेजान साजों से,
आवाज़ के पंखों पर उड़ने लगता है कोई गीत जब,
झूम झूम लहराते हैं ये दिल क्योंकि..
संगीत दिलों का उत्सव है,
संगीत दिलों का उत्सव है...उत्सव है.....
गीतों के रंग न हो तो, नीरस है ये जीवन,
सरगम के सुर न छिड़े तो, सूना है मन आंगन,
हवाओं में संगीत है,
लहरों में संगीत है,
संगीत है बारिश की रिमझिम में,
धड़कन में संगीत है,
सांसों में संगीत है,
संगीत है कुदरत के कण कण में,
जब ताल से उठे,
दिल की सदा कोई,
हौले से ख्वाबों को सहला जाता है कोई गीत जब,
घूम घूम बलखाते हैं ये दिल क्योंकि...
संगीत दिलों का उत्सव है,
संगीत दिलों का उत्सव है...उत्सव है.....
गहरे ये रिश्ते हैं, संग रोते हँसते हैं,
सुख दुःख के सब मौसम, गीतों में बसते हैं,
कभी गूंजे बांसुरी,
वीणा की धुन कभी,
कभी ढोल मंजीरे बजते हैं,
तबले की थाप पर,
कभी नाचता है मन,
कभी सुर सितार के बहते हैं,
जब ताल से उठे,
दिल की सदा कोई,
धीमे से यादों को धड़का जाता है कोई गीत जब,
साथ साथ गुनुगुनाते हैं ये दिल क्योंकि ...
संगीत दिलों का उत्सव है,
संगीत दिलों का उत्सव है...उत्सव है.....
जब सुर खनकते हैं.....
Lyrics
jab sur khankte hain,
bezaan sajon se,
awaaz ke pankhon par udne lagta hai koi geet jab,
jhoom jhoom lehrate hain ye dil kyonki...
sangeet dilon ka utsav hai,
sangeet dilon ka utsav hai.... utsav hai....
geeton ke rang na ho to, neeras hai ye jeevan,
sargam ke sur na chide to, sunaa hai man aangan,
hawavon men sangeet hai,
lehron men sangeet hai,
sangeet hai barish ki rimjhim men,
dhadkan men sangeet hai,
sanson men sangeet hai,
sangeet hai kudrat ke kan kan men,
jab taal se uthe,
dil ki sada koi,
haule se khwabon ko sahla jaata hai koi geet jab,
ghoom ghoom balkhate hain ye dil kyonki...
sangeet dilon ka utsav hai,
sangeet dilon ka utsav hai.... utsav hai....
gahre ye rishte hain, sang rote hanste hain,
sukh dukh ke sab mausam, geeton men baste hain,
kabhi gunje bansuri,
veena ki dhun kabhi,
kabhi dhol manjeere bajte hain,
tablee ki thaap par,
kabhi nachta hai man,
kabhi sur sitaar ke bahte hain,
jab taal se uthe,
dil ki sada koi,
dheeme se yadon ko dhadka jaata hai koi geet jab,
saath saath gungunate hain ye dil kyonki...
sangeet dilon ka utsav hai,
sangeet dilon ka utsav hai.... utsav hai....
jab sur khankte hain......
You can download the song according to your prefrence from here -
यदि आप इस पॉडकास्ट को नहीं सुन पा रहे हैं तो नीचे दिये गये लिंकों से डाऊनलोड कर लें (ऑडियो फ़ाइल तीन अलग-अलग फ़ॉरमेट में है, अपनी सुविधानुसार कोई एक फ़ॉरमेट चुनें)
VBR MP3 | 64Kbps MP3 | Ogg Vorbis |
SANGEET DILON KA UTSAV HAI
Comments
संगीत काफी अच्छा और सबसे बड़ी बात है जिस भाव में गया है उसमे आप बंधकर रह जाते है
मंत्रमुग्ध कर देने वाला गीत और संगीत बहुत ही अच्छा
^^पूजा अनिल
झूम झूम लहराते हैं ये दिल क्योंकि..
संगीत दिलों का उत्सव है,
संगीत दिलों का उत्सव है...उत्सव है.....
bahut hi khubsoorat geet, iske bhaav aur utna hi madhur sangeet, main in dono "Charles aur Nikhil" ko badhai dena chahunga ki inhone geet ki madhurta ko barkrar rakhte hua sarvotam sangeet ki rachna ki. sath hi main Singers ko bhi badhai ka patr manta hun jinhone is geet ko bhav se gaya aur mithas ke saath hum tak pahunchaya.
HidYugm ko badhai.
Manuj Mehta
बहुत बहुत बधाई टीम को..
बहुत खूबसूरत गीत है...संगीत भी खनकता हुआ है और गायकों ने तो प्राण फूंक दिये हैं...पूरी टीम व हिन्द युग्म को बधाई व शुभकामनाएं।
सजीव भाई बहुत अच्छे बोल लिखे हैं आपने इस गीत के लिए और सच में आप विशेष बधाई के पात्र हैं। संगीत को भी मैंने enjoy किया। खास कर अंतरे और मुखड़े के बीच के interludes बेहतरीन थे।
संगीत संयोजन में कमी बस एक ये ही थी कि कहीं कहीं गायकों की आवाज पर वाद्य यंत्र हावी होते लगे । चार्ल्स और मिथिला ने अच्छा गाया पर जैसा कि मैंने ऊपर कहा कि वाद्य यंत्रों के बीच कहीं कहीं उनकी आवाज खोती सी लगी।
और अंत में बात उच्चारण की।
कुदरत के कण कण की जगह कुदरत की कण कण
तबले की जगह तबला
आवाज़ के पंखों की जगह आवाज़ की पंखों गाया गया।
मैं समझ सकता हूँ कि दोनों गायक केरल से हैं इसलिए उस हिसाब से उनका ये प्रयास बेहतरीन हैं। पर कोशिश करें कि ये गलतियाँ कम से कम हों।
पर मुख्य बात ये रही कि कुल मिलाकर पूरी composition अच्छी लगी। पूरी टीम को मेरी तरफ से हार्दिक बधाई।
अवनीश तिवारी
पढ़ने पर सोच भी नही सकते थे कि इतनी कठिन शब्दों से लिखी इस कविता को इतना सुंदर रूप में गया भी जा सकता है
आवाज़ भी बहुत सुरीली है
सफ़र मंज़िलों तक जल्दी ही पहुँचे यही प्राथना है
इस गीत को सुनकर भी मजा आ गया, गीत के बोल, संगीत सभी कर्णप्रिय लगे
सुमित भारद्वाज।
when i heard this song at first...i wanted to hear more n more .......
sangeet ki jeevan mai ahmiyat ko..jarurat ko...aur sangeet mai jeene ko ... sajeev jee ne bahut achchee tarah se..jahir kiya hai...sangeet se jude sab bhavon ko ... dil ki gehrai se...shabdon mai lakar..usnko khoobsurati se...ek geet ka roop diya hai... fir shabdon mai ..wahee sangeet jab jud gaya...to usko sunke yahee laga kee sangeet hee ek utsav hai...bas
sajeev jee apne to fir kamal kar diya apnee kavita se..
aur naye bachchon ne ...
bahut achcha gaya hai ...
aur musik bhi bahut pyaara hai..
lekin jesa ki sangeet bahut gehra hai ... apka geet bhi..utnee depth abhi singers ke andar nahee dikhi....geet ko sunke esa ehsaas ki singer aur musik ek doosre mai kho gaye hai...wo ehsaas mai har geet mai khojti hun..isme thoda sa kam hai ... isme musicians ki sangeet ke saath jyada waqt nahee guzarne kee zalak milti hai...meree aur se sabhi log jo is geet ka part hai unko bahut shubhkamnayen...aur prem...aur good luck ...
song ka musik bada achcha hai.. or ye unhi logo ke liye hai.. jo musik ko prem karte hai..
use jeete hai..
all the best
Need loads of impovement on Song charachter, body & defination. The voice & music are postfacto & derivation of the first three. So all in all, spend more time in visualisation of what you make, it has to be a dream to make it real. When you get there then you dream about the commercial viability of your dream, its a step wise progression.. so keep doing it, dont give up & youll reach there soon.
Cheers
आवाज़ के समीक्षक मनीष कुमार के सलाहों को आत्मासत करके हम बहुत आगे जा सकते हैं।
Manish Kumar ji ki baat ko dhyaan mein rakha jana chahiye...
64kps seems wavy....
keep rocking guys....
beautifull composition
CONGRATULATIONS ...!!!
शब्द भी बहुत सही तरीके से
शास्त्रीय धुनोँ व रागिनी से मेल खाते हुए
पसँद आया गीत --
Congratulations tp all --
- लावण्या
perub
by Nikhil and Charles........
Thanx to both for their astounding contribution...............
I feel proud in saying that i know Nikhil personally......
May god take them to even greater heights........
full credit to the team!
Excellent song. Keep pursuing your hobbies and dreams. Extremely relaxing and soothing song
lyrics is marvellous... best of luck 4 ur next project.
lyrics is marvellous... best of luck 4 ur next project.
Keep it up guys!
Awesome voices...specially Charle's.
Good effort to define Music.
The music is really soothing one.
hey great job yaar ,it was really good,, good job mithila ...........keep singing more g8t songs ..best of luck
Ashok Kumar Dixit
मुझे यह गीत बहुत पसन्द आया, अभी तो शुरुआत की है सारे गीत सुनूंगा। पर पहले इस गीत की संक्रामकता से तो मुक्त हो लूं..
सजीव सारथी और पूरी टीम को अनेकानेक बधाईयाँ और उज्जवल भविष्य के लिये शुभकामनायें।
your music is fresh...
keep up the good work...
all the best. Roni Mohan