'सुनो कहानी' इस स्तम्भ के अंतर्गत हम आपको सुनवा रहे हैं प्रसिद्ध कहानियाँ। पिछले सप्ताह आपने अनुराग शर्मा  की आवाज़ में इस्मत चुगताई की आत्मकथा ''कागज़ी है पैरहन'' से एक बहुत ही सुन्दर, मार्मिक प्रसंग  का पॉडकास्ट सुना था। आज हम आपकी सेवा में प्रस्तुत कर रहे हैं अनुराग शर्मा  की एक कहानी " संस्कृति के रखवाले ", जिसको स्वर दिया है अनुराग शर्मा  ने।   कहानी "गरजपाल की चिट्ठी" का कुल प्रसारण समय 2 मिनट 25 सेकंड है। सुनें और बतायें कि हम अपने इस प्रयास में कितना सफल हुए हैं।   इस कथा का टेक्स्ट बर्ग वार्ता ब्लॉग  पर उपलब्ध है।   यदि आप भी अपनी मनपसंद कहानियों, उपन्यासों, नाटकों, धारावाहिको, प्रहसनों, झलकियों, एकांकियों, लघुकथाओं को अपनी आवाज़ देना चाहते हैं हमसे संपर्क करें। अधिक जानकारी के लिए कृपया यहाँ  देखें।       पतझड़ में पत्ते गिरैं, मन आकुल हो जाय। गिरा हुआ पत्ता कभी, फ़िर वापस ना आय।।  ~ अनुराग शर्मा   हर शनिवार को आवाज़ पर सुनें एक नयी कहानी   तो अपने बच्चों को हिन्दी नहीं सिखायेंगे क्या?  ( अनुराग शर्मा  की " संस्कृति के रखवाले ...